
सिंदूर यात्रा’ आयोजित कर भारतीय सेना का किया गया सम्मान__
वीरमाता अनुराधा गोरे और डॉ. मंजू लोढ़ा के नेतृत्व में महाराष्ट्र में पहली बार मुंबई में ‘सिंदूर यात्रा’ का आयोजन संपन्न_मुंबई, 20 मई : पाकिस्तान का समर्थन करनेवाले चीन और तुर्की के विरुद्ध आवाज उठाते हुए, हजारों महिलाओं ने ‘सिंदूर यात्रा’ के दौरान इन देशों की वस्तुओं का बहिष्कार करने की शपथ ली।
वीरमाता अनुराधा गोरे और समाजसेविका डॉ. मंजू लोढ़ा के नेतृत्व में भारतीय सैनिकों के सम्मान में यह यात्रा मंगलवार को आयोजित की गई थी।
मणिभवन चौक से हीरोज ऑफ किलाचंद उद्यान तक निकाली गई इस यात्रा में राष्ट्रभक्ति के नारों से गिरगांव इलाका गूंज उठा।हाल ही में कश्मीर के पहलगाम में आतंकवादियों द्वारा किए गए कायराना हमले में निर्दोष पर्यटकों की जान गई थी।
इसके जवाब में भारतीय सेना ने ‘ऑपरेशन सिंदूर’ के तहत आतंकवाद को समर्थन देनेवाले पाकिस्तान को करारा जवाब दिया। इसी पृष्ठभूमि में भारतीय सैनिकों के सम्मान में सिंदूर यात्रा का आयोजन किया गया। इस यात्रा में लाल साड़ियां पहनकर, हाथों में तिरंगा लेकर, हजारों महिलाओं ने देशभक्ति से ओतप्रोत नारों के साथ भाग लिया।
महाराष्ट्र में पहली बार महिलाओं के नेतृत्व में भारतीय सैनिकों को सम्मान देने के उद्देश्य से यह यात्रा आयोजित की गई थी।
इस अवसर पर वीरमाता अनुराधा गोरे ने कहा, “शहीदों का बलिदान कभी व्यर्थ नहीं जाता, बल्कि उससे अनेक वीर जन्म लेते हैं। भारत वीरों की भूमि है और नारी शक्ति को हमेशा उनके साथ खड़ा रहना चाहिए।”वहीं डॉ. मंजू लोढ़ा ने कहा, “भारतीयों को अपनी सेना से गहरा प्रेम है, लेकिन केवल प्रेम से नहीं चलेगा। हर नागरिक को साल में एक त्यौहार जवानों के घर जाकर उनके परिवार के साथ मनाना चाहिए। इससे सीमाओं पर तैनात जवानों का आत्मबल बढ़ेगा।”
इस सिंदूर यात्रा में कैबिनेट मंत्री मंगल प्रभात लोढ़ा ने भी भाग लिया और वीर भारतीय सैनिकों को वंदन किया। जवानों के परिजन, पूर्व सैनिक, सामाजिक संस्थाओं के प्रतिनिधि, अभिनेत्री मेघा धाड़े, मराठी फिल्म इंडस्ट्री के कलाकार तथा विभिन्न आयु वर्ग की महिलाओं ने इस यात्रा में हिस्सा लिया।